राजनीतिक रणनीतिकार से नेता बने प्रशांत किशोर ने मंगलवार को कहा कि समान नागरिक संहिता (यूसीसी) के कार्यान्वयन के परिणाम, अच्छे या बुरे हों,लेकिन भाजपा के अन्य मुख्य एजेंडे जैसे अयोध्या और अनुच्छेद 370 से कहीं अधिक बड़े होंगे। उन्होंने इस बात पर भी बल दिया, न तो देश के संस्थापक और न ही संघ के विचारक कभी इसके (देश पर एकरूपता थोपने के) पक्ष में थे। किशोर 2014 के लोकसभा चुनाव में प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी के अभियान को संभालने के बाद प्रसिद्ध हुए थे। उन्होंने कहा कि देश की जो विविधता है उसे देखते हुए देश में यूसीसी लागू करना इतना आसान नहीं है जितना लग रहा है, लेकिन यह वर्षों से भाजपा के घोषणापत्र का हिस्सा रहा है।
