Svante Paabo की इस स्‍टडी ने जीता नोबेल : एक जगह से पूरे ग्रह पर कैसे फैले इंसान?

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स्‍वीडन के प्रोफेसर पाबो की रुचि हमारे पूर्वजों से प्राप्त पुरानी और खराब हो चुकी जेनेटिक सामग्री के सीक्‍वेंसिंग में थी. कई लोगों ने सोचा कि यह एक असंभव चुनौती थी. लेकिन पाबो ने पहली बार 40,000 साल पुराने हड्डी के टुकड़े से DNA सीक्‍वेंस की. इससे मानव विकास के कई सवालों के जवाब हमें मिले.
मानव विकास की जानकारी में अपने योगदान के लिए स्वीडन के Svante Paabo ने फिजियोलॉजी/मेडिसिन में नोबेल पुरस्कार जीता है. नोबेल पुरस्कार समिति ने कहा उन्होंने हमारे विलुप्त रिश्तेदारों में से एक – निएंडरथल (Neanderthals) के जेनेटिक कोड को क्रैक करने का असंभव काम कर दिखाया है. उन्होंने मानवों के एक अज्ञात रिश्तेदार – डेनिसोवन्स (Denisovans) के बारे में जानकारियां खोज निकाली हैं.  वे मैक्स प्लैंक इंस्टीट्यूट फॉर इवोल्यूशनरी एंथ्रोपोलॉजी मेंजेनेटिक्स विभाग के निदेशक के रूप में भी काम कर चुके हैं.

40,000 साल पुराने DNA की सीक्‍वेंसिंग

स्वीडिश के आनुवंशिकीविद् पाबो के काम ने हमारे अपने विकासवादी इतिहास का पता लगाने में मदद की और इस सवाल का जवाब दिया कि कैसे मनुष्य एक जगह पैदा होकर पूरे ग्रह पर चारों ओर फैल गया. उन्‍होंने हमें कुछ सबसे बुनियादी सवालों के जवाब दिए कि हम कहां से आए हैं और क्‍यों होमो सेपियन्स विकास क्रम में आगे

बढ़ते गए जबकि हमारे रिश्तेदार विलुप्त हो गए थे.

1990 के दशक में, ह्यूमन जेनेटिक कोड पर काम करने पर शोध तेज गति से हो रहा था. लेकिन यह प्राचीन DNA के ताजा नमूनों पर निर्भर था. प्रो पाबो की रुचि हमारे पूर्वजों से प्राप्त पुरानी और खराब हो चुकी जेनेटिक सामग्री में थी.

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